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मसूदा जनसुनवाई में BDO से अभद्रता कर धक्का मुक्की करना महंगा पड़ा

मसूदा जनसुनवाई में BDO से अभद्रता कर धक्का मुक्की करना महंगा पड़ा

राजकार्य में बाधा सहित अन्य धाराओं में ग्रामीणों के खिलाफ मामला दर्ज

मुकेश वैष्णव/दिव्यांग जगत/अजमेर

अजमेर । मसूदा मे जनसुनवाई के दौरान विकास अधिकारी से अभद्रता कर धक्का मुक्की करना ग्रामीणों को भारी पड़ गया है। राज कार्य में बाधा डालने सहित अन्य धाराओं में ग्रामीणों के खिलाफ मसूदा थाने में मामला दर्ज कराया गया है। पुलिस मामले की जांच में जुटी है। पंचायत समिति मसूदा के विकास अधिकारी फिरोज खान ने रिपोर्ट दी कि एसडीएम के आदेश पर माह फरवरी के प्रथम गुरूवार को ग्राम पंचायत मुख्यालय पर पंचायत स्तरीय जनसुवाई के लिए प्रभारी अधिकारी के रूप में ग्राम पंचायत मसूदा मुख्यालय पर था। इस दौरान पुष्पकाता धूत सरपंच मसूदा, गोविन्द प्रकाश धूत सरपंच पति, हेमराज दरोगा ग्राम विकास अधिकारी, प्रदीप फागना पटवारी, रामकिशन जाट कनिष्ठ सहायक पंचायत समिति मसूदा, मोहम्मद हाफिज पंचायत कार्मिक आदि प्रार्थना पत्र लेकर जन सुनवाई कर रहे थे। इस दौरान गोपाल स्वरूप जोशी पुत्र दामोदर प्रसाद जोशी, मनीष जोशी पुत्र विनोद जोशी, दामोदर शर्मा मसूदा, सुभाष व्यास आशा जनरल स्टोर मसूदा, गोपाल शर्मा पुत्र सत्यनारायण शर्मा मसूदा, जसराज वार्ड पंच, हरी प्रसाद प्रजापत वार्ड पंच, सुभाष शर्मा झिपियां, श्रीधर शर्मा मसूदा, लोकेश शर्मा पुत्र ब्रजमोहन शर्मा मसूदा एवं अन्य असामाजिक तत्वों को लेकर भीड के साथ एक प्रार्थना पत्र जो कि सरपंच मसूदा के नाम सम्बोधित था, दिया। साथ ही कहा कि इस पर तुरन्त कार्यवाही कर इसी वक्त साथ चलो और गुर्जर गौड़ समाज की खातेदारी जमीन में रास्ता दिला भवन निर्माण शुरू करवा। इस के बाद सरपंच, सरपंच पति, पटवारी से चर्चा की तो उन्होंने बताया कि यह परिवाद एवं प्रार्थना पत्र न्यायालय मसूदा में विचाराधीन है। इस पर परिवादी को कहा कि प्रार्थना पत्र पर संबंधित से बात कर तथा राजस्व विभाग के अधिकारियों से निस्तारण करवाया जाएगा। इस पर गोपाल स्वरूप जोशी गुस्से में आकर गालियां देने लगा। अन्य ने मिलकर अभद्रता की, धक्का दिया, हाथापाई की। साथ ही डराया धमकाया कि तू क्या तेरा बाप भी रास्ता दिलाएगा। मुख्य सचिव उषा शर्मा, कलेक्टर अजमेर को भी हमारा काम अपनी ऐसी-तेसी करवाकर करना पड़ेगा। जूते मारकर रास्ता ले लेंगे और जूते की माला पहनाकर मुंह काला करेंगे। प्रार्थना पत्र को शर्ट के कोलर के अन्दर डालने लगा। इसके पश्चात राजकीय एवं निजि व्यक्तियों को हॉल में बन्द कर बाहर से ताला लगा दिया। इसके लगभग दो घन्टे बाद उपखण्ड अधिकारी, तहसीलदार, पुलिस उप अधीक्षक, नायब तहसीलदार आदि अधिकारी मौके पर आए और समझाईश कर ताला खुलवाया। इसके बाद हमें बाहर निकाला। उस दिन बहुत डर गया था, इस कारण रिपोर्ट दर्ज नहीं करा सका। अब उच्चाधिकारियों को अवगत करवाकर रिपोर्ट दर्ज करवाई। पुलिस ने मामला दर्ज कर जांच एएसआई सुरेन्द्र सिंह के जिम्मे की गई।

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