Rajasthan assembly session: स्पीकर ने पूछा- ऊंटों को राज्य पशु के दर्जे के क्या फायदे हैं? मंत्री का जवाब सुन हुए दंग
राजस्थान विधानसभा (Rajasthan Assembly) के स्पीकर डॉ. सीपी जोशी (Dr. CP Joshi) ने पूछा कि ऊंटों को राज्य पशु का दर्जा मिलने के क्या फायदे हुए. इस सवाल का मंत्री लालचंद कटारिया द्वारा दिए गए जवाब पर सब हैरान हुए.
जयपुर. राजस्थान विधानसभा (Rajasthan Assembly) सत्र में स्पीकर द्वारा पूछे गए एक सवाल का जवाब सुन सदन में मौजूद सभी लोग हैरान रह गए. प्रश्नकाल में शुक्रवार को पहला ही सवाल प्रदेश में ऊंटों की स्थिति को लेकर किया गया गया. स्पीकर डॉ. सीपी जोशी ने पूछा कि ऊंटों को राज्य पशु का दर्जा मिलने के क्या फायदे हुए. इस सवाल का मंत्री लालचंद कटारिया द्वारा दिए गए जवाब पर सब हैरान हुए. मंत्री कटारिया ने कहा- जब ऊंटों को राज्य पशु का दर्जा देने का ऐलान हुआ था, तब मैं सदन में मौजूद नहीं था. उक्त परिस्थितियों के आधार पर निर्णय लिया गया होगा.
दरअसल विधायक अमीन खां ने प्रदेश में ऊंट को राज्य पशु के दर्जे से जुड़ा पहला सवाल आज किया. इसपर पशुपालन मंत्री लालचंद कटारिया ने जवाब दिया. उन्होंने बताया कि ऊंटों के संरक्षण के लिए प्रयास किए जा रहे हैं. इसके लिए 24 .41 करोड़ की राशि का भुगतान किया गया है. देश के कुल ऊंटों की लगभग 84 प्रतिशत संख्या राजस्थान में है. यांत्रिक संसाधनों के विकास के चलते ऊंटों की संख्या में लगातार गिरावट हो रही. अधिनियम आने के बाद ऊंटों को स्टेट से बाहर नहीं ले जा सकते हैं. आने वाले सत्र में अधिनियम में कुछ संशोधन करेंगे.
पालकों ने तोड़ा नाता मंत्री ने सवाल के जवाब में कहा कि नया अधिनियम आने के बाद में ऊंट पालकों ने ऊंट से नाता तोड़ लिया है. इसके बाद स्पीकर डॉ. सीपी जोशी ने पूछा कि राज्य पशु घोषित करने से क्या लाभ होता है? मंत्री लालचंद कटारिया ने कहा उस वक्त परिस्थितियों के अनुसार निर्णय लिया गया होगा. मैं उस वक्त सदन में नहीं था.
सदन में नई आंगनबाड़ी केंद्रों की स्थापना से जुड़ा सवाल भी किया गया. इस पर मंत्री ममता भूपेश ने जवाब दिया. उन्होंने कहा कि वर्तमान में नए केंद्र खोलने की अनुमति नहीं है. जैसे ही अनुमति मिलेगी नए केंद्र खोले जाएंगे. इसे लेकर भारत सरकार को कई बार पत्र लिखे गए हैं. विपक्ष के सदस्य भी इस संबंध में भारत सरकार से आग्रह करें. सदन में सरस डेयरी जयपुर में मिलावटी दूध प्रकरण से जुड़ा सवाल भी किया गया. बीजेपी विधायक कालीचरण सराफ के सवाल पर गोपालन मंत्री प्रमोद जैन भाया ने कहा दौसा जिले में 18 समितियों पर निम्न स्तर का दूध पकड़ा गया. 2 जुलाई 2020 को जयपुर डेयरी में निम्न स्तर का दूध का टैंकर आया था. जिसे नष्ट करवा दिया गया था. नायला की ढाणी बीएमसी को तुरंत प्रभाव से बंद कर दिया गया था. प्रकरण से संबंधित जांच हाई कोर्ट में विचाराधीन है.